राहुल गांधी को हाई कोर्ट से लगा बड़ा झटका, बरकरार रहेगी कांग्रेस नेता की 2 साल की सजा
राहुल गांधी को हाई कोर्ट से लगा बड़ा झटका, बरकरार रहेगी कांग्रेस नेता की 2 साल की सजा
गुजरात उच्च न्यायालय मोदी उपनाम वाली टिप्पणी को लेकर आपराधिक मानहानि मामले में कांग्रेस नेता राहुल गांधी को बड़ा झटका दिया है. हाईकोर्ट ने शुक्रवार को उनकी याचिका को ख़ारिज कर दिया. उच्च न्यायालय के न्यायमूर्ति हेमंत प्रच्छक की अदालत ने शुक्रवार पूर्वाह्न 11 बजे फैसला सुनाया। दोषसिद्धि पर रोक लगने से गांधी की संसद सदस्यता बहाल होने का मार्ग प्रशस्त हो जाता लेकिन कोर्ट ने राहुल की याचिका ख़ारिज कर दी।
न्यायमूर्ति प्रच्छक ने मई में राहुल गांधी की याचिका पर सुनवाई करते हुए कोई अंतरिम राहत देने से इनकार कर दिया था और कहा था कि वह ग्रीष्मकालीन अवकाश के बाद अंतिम आदेश पारित करेंगे। इसके पहले राहुल गांधी के वकील ने 29 अप्रैल को सुनवाई के दौरान गुजरात उच्च न्यायालय में तर्क दिया था कि एक जमानती एवं गैर-संज्ञेय अपराध के लिए अधिकतम दो साल की सजा देने का मतलब है कि उनके मुवक्किल अपनी लोकसभा सीट खो सकते हैं। गुजरात में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के विधायक पूर्णेश मोदी द्वारा दायर 2019 के मामले में सूरत की मेट्रोपोलिटन मजिस्ट्रेट अदालत ने 23 मार्च को राहुल गांधी को भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) की धाराओं 499 और 500 (आपराधिक मानहानि) के तहत दोषी ठहराते हुए दो साल जेल की सजा सुनाई थी। फैसले के बाद गांधी को जनप्रतिनिधित्व अधिनियम के प्रावधानों के तहत संसद की सदस्यता से अयोग्य घोषित कर दिया गया था। राहुल गांधी 2019 में केरल के वायनाड से लोकसभा के लिए निर्वाचित हुए थे।