अनोखी सजा- माफ कर दीजिए अब बेवजह बाहर नही जाऊंगा ||

आईये जानते है की आखिर कसूर क्या है, जनाब का । कसूर है••• बस इतना की इन्होने खुद और अपने परिवार के लिये करोना को आकस्मिक आगमन का न्योता दिया।।। जी हां••• इनकी गलती ••, कोई छोटी गलती नही है।अब हम बताते हैं की हम ऐसा क्यूं कह रहे हैं। दरअसल ये लोग सरकार के अन्तिम विकल्प को भी खत्म करने के लिये आमदा हैं। मालुम हो की देश के अन्य हिस्सों मे करोना अपना कहर बरपा रहा है। अस्पताल मे लोग बिना ओक्सिजन के दम तोड़ रहे हैं, हेल्थ सिस्टम के मामले मे बिहार काफी पीछे है, ऐसे मे अगर क्षमता से ज्यादा लोग करोना से संक्रमित होंगे,तो सरकार किस हद तक लोगो का जान बचा पायेगी, ऐसा नही है की डॉक्टर अपना काम नही कर रहे हैं, वो अपनी जिन्दगी दावं पर लगा कर लोगो को बचाने की कोशिश तो करते ही हैं, लेकिन उनकी भी एक सीमा है।ऐसे मे सरकार ने बार बार कई ऐडवाइज़री जारी की, लेकिन जिन लोगो ने कसमे खा ली की, हम नही सुधरेंगें ••••• तो सरकार को अन्तिम विकल्प •••• यानी लॉक डाउन को लागू करना पड़ा ।। अगर अब इस लॉक डाउन मे भी करोना के चैन को नही तोड़ा गया,,, तो सरकार को इस लॉक डाउन की 15 मई की तारीख मे फिर से विस्तार करना पड़ेगा । अब जरा सोचिये ••• ये पुलिस वाले शहर से शहर, गली से मुहल्ले मे पैदल मार्च करके,, माइक के माध्यम से आम लोगो को जागरुक कर रही है,, आखिर इन्हे इतनी मशक्कत करने की क्या जरुरत है। ये भी इन्शान है, इनकी भी अपनी जींदगी है, इनके भी अपने परिवार है, सच कहा जाये, तो ये हमारे समाज के करोना वारियार हैं, जो खुद के जान की परवाह किये बगेर , हमे और हमारे पूरे समाज को करोना के संक्रमण से बचाना चाहते हैं । अब रही बात ये उठक-बैठक क्यूँ और कहां की तस्वीर है, दरअसल ये मामला है पटना के फतुहा का जहां पुलिस निकली थी लॉक डाउन का पालन कराने,,, जहां इन बेवजह निकलने वालों की शामत आ गयी। पुलिस ने इन लोगो को ये सजा देकर,, उन लोगो को भी संदेश देने का काम किया है, की जो लोग करोना के चैन को तोड़ने के लिये बेवजह निकल कर लॉक डाउन का उल्लंघन करेंगे,, उनको बख्शा नही जायेगा। हमारी आप से अपील है की आप ये ना सोचे की थोड़ा घूम लेने से करोना का संक्रमण नही होगा, करोना हर जगह, कई व्यक्ति के द्वारा आपको संक्रमित अवश्य कर सकता है, इसलिए आप मास्क हमेशा पहने, दो गज की दुरी रखें,, और लोक डाउन का पालन करे ताकी,, इस फिज़ा मे फिर से वो खुशबू की महक फिर से वापस आ जाये, जब हमारी जिन्दगी, पहले थी, और हमारे जीवन मे असमय मौत का दस्तक ना हो।